उदयपुर। पी.आई.ई.सी. विदेश से मेडिकल, इंजीनियरिंग, मेनेजेंट आदि कोर्स हेतु प्रवेश प्रक्रिया में मार्गदर्शन एवं अपनी सेवाए प्रदान करती है।
पी.आई.ई.सी. निदेशक एवं करियर काउंसलर विकास छाजेड ने बताया की ऐसे बच्चे जिनके माता या पिता देश सेवा करते हुए शहीद हो गए है, अगर वे बच्चे विदेश से मेडिकल, इंजीनियरिंग, मैनेजमेंट या किसी अन्य कोर्स हेतु शिक्षा प्राप्त करना चाहते है या करियर सम्बन्ध में मार्गदर्शन प्राप्त करना चाहते है मार्गदर्शन एवं प्रवेश हेतु पूरी प्रक्रिया उनके लिए नि:शुल्क रहेगी एवं पी.आई.ई.सी. द्वारा कोई कंसल्टेंसी शुल्क नहीं लिया जायेगा। छात्र-छात्रा को केवल कॉलेज / यूनिवर्सिटी की फीस मात्र ही देनी होगी उसमे भी अगर छात्र-छात्रा छात्रवृति पाने के लिए योग्य है तो विभिन्न प्रकार के मिलने वाली छात्रवृति के अवसरो से भी उन छात्र-छात्राओ को अवगत करवाया जायेगा, पी.आई.ई.सी. का पूरा प्रयत्न रहेगा की उन छात्र-छात्राओ की पढाई विदेश से कम लागत में या नि:शुल्क हो सके।
छाजेड ने बताया की वर्तमान में पी.आई.ई.सी. के माध्यम से जाने वाले छात्र-छात्राओ को भी की तय मानदंड अनुसार पी.आई.ई.सी. द्वारा छात्रवृति दी जाती है। साथ ही वर्तमान में 3 विद्यार्थी को प्रथम वर्ष में चीन के विश्वविध्यालय में छात्रवृति भी मिली है। विकास छाजेड ने बताया की सैनिक के लिए प्रत्येक भारतीय उसके परिवार का सदस्य है और पूरा भारत उसका परिवार है।
अपने देश की रक्षा के लिए अपने प्राण दे देना बगैर इस चिंता के की उसके स्वयं के परिवार का क्या होगा? तो हर भारतीय को भी उस शहीद के परिवार को अपना समझकर कुछ करना चाहिए, बस इसी सोच के साथ पी.आई.ई.सी. ने यह पहला कदम उठाया है।
पी.आई.ई.सी. संस्थापक शांतिलाल कागरेचा एवं केशवलाल छाजेड ने इस योजना को वर्ष अप्रैल 2019 से राजस्थान, गुजरात, मध्यप्रदेश के राज्यों में लागू करने की घोषणा की एवं बताया की आने वाले वर्ष में इसे सम्पूर्ण भारत में लागू किया जायेगा जिससे शहीद परिवार को सहयोग किया जा सके। भविष्य में पी.आई.ई.सी. का लक्ष्य है की शहीद के बच्चो के साथ ही यह योजना सभी सैनिको के बच्चो के लिए भी लागू की जाएगी। उपरोक्त योजना की अधिक एवं विस्तृत जानकारी पी.आई.ई.सी. कार्यालय, मोबाइल 9799037409 पर ली जा सकती है